- सुबह तक धंधकी आग पर काबू पाने दमकल और एसडीआरएफ को बुलाना पड़ा
- आग से तमाम विभागों का रिकार्ड जला,कम्प्यूटर भी झुलसे
- कलेक्टर ने बनाई जांच समिति एडीएम करेंगे जांच
जिला मुख्यालय पर स्थित कलेक्ट्रेट परिसर के कई शिकायत शाखा के पास के कक्षों में शुक्रवार शनिवार की दरम्यानी लगाई गई आग से तमाम सारा सरकारी रिकार्ड जलकर खाक हो गया। आग लगने की सूचना वहां तैनात सैनिकों ने प्रशासन को दी जिस पर कलेक्टर रविन्द्र चौधरी खुद मौके पर पहुंचे यहां दमकलों की सहायता से आग को काबू करने के अलावा एसडीआरएफ के दल को भी बुलाना पड़ा तब कहीं जाकर आग पर काबू पाया जा सका।कलेक्टर ने इस अग्रिकाण्ड की जांच के लिए एडीएम की अध्यक्षता में एक जांच कमेटी के गठन की बात कही है। कलेक्टर रविन्द्र चौधरी ने कहा कि यहां के सीसी टीवी फुटेज से जो स्थिति निकलकर सामने आई है उसके अनुसार इस अग्रिकाण्ड में दो अज्ञात बदमाशों की अहम भूमिका सामने आई है, जिन्होंने रात के समय परिसर में घुस कर तमाम सुरक्षा बंदोवस्तों को धता बताते हुए खुद षड़यंत्र पूर्वक अग्रिकाण्ड को अंजाम दिया।
यहां यह आग शुक्रवार शनिवार की दरम्यानी रात लगाई गई, मगर आग ने जब भीषण रुप ले लिया तब वहां तैनात होमगार्ड सैनिकों ने शनिवार की सुबह प्रशासन को इस सम्बंध में अवगत कराया। इसका पता अधिकारियों को शनिवार सुबह 5 बजे लगा। आग बुझाने की कोशिश किए जाने तक कई विभागों के रिकॉर्ड जलकर खाक हो गए। मौके पर पहुंचे संबंधित अधिकारियों ने नगर पालिका की फायर बिग्रेड, पानी के टैंकर को बुलाकर आग पर काबू पाने का प्रयास शुरू किया। आग पर काबू पाने के लिए एसडीआरएफ की टीम को भी बुलाया सुबह 8 बजे तक आग पर काबू पाया गया।
कंधे पर बैग टांग कर घुसे बदमाश जिन्होनें कथित पेट्रोल बम्ब फेंक कर लगाई आग, आग लगने के बाद भागे बदमाश।
दो प्रोफेशनल बदमाशों ने आग के लिए किया पेट्रोल बम्ब इस्तेमाल….
कलेक्ट्रेट परिसर में लगे सीसीटीव्ही कैमरों से हुई रिकॉर्डिंग की जांच एनव्हीआर से की गयी। जिसमें रात्रि में दो व्यक्ति जिनका चेहरा ढंका हुआ था एक के कंधे पर एक बैग टंगा था और दोनों के चेहरे साफी से ढंके थे। यह दोनों कलेक्ट्रेट की बाउण्ड्रीवाल को लांघकर परिसर में दाखिल होते हुए दिखाई दिए, इनके हाथों में ज्वलनशील पदार्थ बोतल में ये लेकर आए थे। अनुमान लगाया जा रहा है कि यह संभवत: यह देशी पेट्रोल बम था जो कि बोतल में पेट्रोल भर उसमें कपड़े की बत्ती डालकर बनाया जाता है। दोनों ने बड़े इत्मिनान से टारगेटेट कक्ष की ओर बढ़े और आग लगाई। कमरे में जलती हुई बोतल नुमा चीज फेंकी और उसके तत्काल बाद ही आग भयानक अंदाज में भड़क गई। जिस तरह से आग भड़की उससे लगता है कि पेट्रोल बम का उपयोग किया गया है। इस काण्ड को अंजाम देने के बाद ये दोनों एक सेकण्ड भी नहीं रुके और भाग गए। संभवत: ये डीईओ कार्यालय की ओर से भागे। ये दोनों वीड़ियो फुटेज में खिड़की के पीछे से आग लगाते हुए देखे जा रहे हैं। जिसकी जांच पुलिस द्वारा की जा रही है। लोगों का कहना है कि रात 10 बजे से ही दो युवक कलेक्टोरेट के आसपास संदिग्ध हालत में घूमते देखे गए थे।
कम्प्यूटर भी झुलस कर खाक, कई शाखाओं का रिकार्ड आग की चपेट में।
-राजस्व की चार से पांच शाखाओं का रिकार्ड आग में झुलसा-
कक्षों में लगाई गई इस भीषण आग को काबू करने के लिए दीवार तक तोड़ना पड़ी। कलेक्टर ने रविन्द्र चौधरी ने बताया कि आग से कलेक्ट्रेट की नजूल शाखा, शिकायत शाखा, भू.अर्जन शाखा, नाजिर शाखा, स्टेशनरी के कक्षों में रखा रिकार्ड प्रभावित हुआ है। उन्होंने कहा कि भूअर्जन का रिकार्ड सुरक्षित है शेष रिकार्ड की जांच कराई जाएगी। कौन से रिकार्ड का कितना नुकसान हुआ है तब सारी स्थिति जांच उपरांत निकल कर सामने आएगी। कुछ रिकार्ड ऑनलाइन है जिसे हम वापस ले सकते हैं।
कलेक्टर रविन्द्र चौधरी
-कलेक्टर ने दिए अग्रिकाण्ड की मजिस्ट्रियल जांच के आदेश, एडीएम करेंगे जांच-
– सीसीटीवी फुटेज के बाद भी फिलहाल युवक बेसुराग, बाहर के कैमरों पर टिकी निगाहें-
कलेक्ट्रेट परिसर शिवपुरी में हुई आगजनी की घटना के मजिस्ट्रियल जांच के आदेश कलेक्टर रविन्द्र चौधरी ने दे दिए हैं।
आधिकारिक प्रेस विज्ञप्ति में कहा गया है कि इस सम्बंध में किसी व्यक्ति को कोई जानकारी या सूचना है तो कोई भी व्यक्ति वह जानकारी 25 मई तक प्रस्तुत कर सकता है। कलेक्ट्रेट परिसर शिवपुरी में शनिवार को दो अज्ञात व्यक्तियों द्वारा आगजनी की घटना को अंजाम दिया गया। इस घटना की मजिस्ट्रियिल जांच अपर जिला दण्डाधिकारी दिनेश चंद्र शुक्ला के द्वारा की जा रही हैं। आगजनी की घटना के संबंध में जिस किसी भी व्यक्ति को ऐसे किसी भी तथ्य का ज्ञान हो जिससे अग्नि दुर्घटना के कारणों को जानने में सहायक हो, वह न्यायालय अपर कलेक्टर शिवपुरी के कक्ष में उपस्थित होकर कार्यालयीन समय में 25 मई तक प्रस्तुत कर सकता है। यदि कोई व्यक्ति अपनी पहचान गोपनीय रखना चाहता है तो संबंधित की पहचान को गोपनीय रखा जाएगा।